आपका हक : साइबर सुरक्षा को मिले प्राथमिकता (पत्रिका)

विजया तिवारी, फोरेंसिक एक्सपर्ट

वर्तमान में सूचना प्रौद्योगिकी का महत्त्व बहुत बढ़ गया है। व्यवसाय ही नहीं, व्यक्ति के दैनिक जीवन में भी इसका दखल सामान्य बात हो गई है। इसके बिना अब काम नहीं चलता। सूचना और संचार के क्षेत्र में तकनीकी प्रगति अपूर्व तेजी से बढ़ रही है। दुनिया भर के देश आर्थिक और सामाजिक रूप से शक्तिशाली बनने के लिए अपनी तकनीक को उन्नत बनाने के इच्छुक हैं। प्रौद्योगिकी ने लोगों के सोचने-समझने के तरीके को भी बदल दिया है। जिस तरह से लोग कार्य करते हैं और जिस तरह से लोग प्रतिक्रिया करते हैं, उसमें भी अच्छा-खासा बदलाव आया है। आजकल ज्यादातर लोग तकनीक से अछूते नहीं रहे। चाहे-अनचाहे उनको इस तरह की तकनीक का इस्तेमाल करना ही पड़ता है। आज हालात ऐसे हो गए हैं कि बैंक के काम से लेकर सिनेमा का टिकट बुक कराने तक के लिए तकनीक का इस्तेमाल हो रहा है। यही वजह है कि साइबर क्राइम बहुत तेजी से बढ़े हैं। बैंक क्षेत्र में अत्याधुनिक तकनीक का इस्तेमाल किया जाता है। इसके बावजूद अपराधी बैंकों और बैंक उपभोक्ताओं के साथ ठगी-धोखाधड़ी करने में कामयाब हो जाते हैं। असल में ऐसे अपराधी इस तकनीक में दो कदम आगे होते हैं, जिससे उनके लिए साइबर क्राइम आसान हो जाता है।

ब्रैंक फ्रॉड के अलावा, ईमेल फिशिंग, स्पूफिंग, मनी लॉन्ड्रिंग, हैकिंग, डेटा चोरी, तस्वीरों से छेड़छाड़ जैसे साइबर अपराध बहुत ज्यादा हो रहे हैं। नेशनल क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो के अनुसार वर्ष 2018 की तुलना में 2019 में साइबर क्राइम के दर्ज मामलों में बहुत ज्यादा बढ़ोतरी दर्ज की गई। ये आंकड़े गवाह हैं कि देश में साइबर क्राइम में किस तेजी से बढ़ोतरी हो रही है। ऐसे भी कई मामले होंगे, जिनको दर्ज ही नहीं कराया गया होगा। एफबीआई रिपोर्ट कहती है कि भारत शीर्ष 20 साइबर अपराध पीडि़त देशों में तीसरे स्थान पर है। यह वाकई चिंताजनक है। इससे साफ है कि साइबर सुरक्षा तंत्र में गंभीर खामी है और लोग भी इस संबंध में जागरूक नहीं हंै। कई बार लोगों को यह तक जानकारी नहीं होती कि साइबार क्राइम का शिकार होने के बाद कहां जाएं, कहां शिकायत करें।

अब आइए जानते हैं कि शिकार होने पर आपको क्या करना है और कहां रिपोर्ट करना है। अपने सभी साइबर अपराधों की रिपोर्ट अपने स्थानीय पुलिस स्टेशन के साइबर सेल में कर सकते हैं। शहरों में साइबर पुलिस स्टेशन हंै, जिनका गठन साइबर अपराधों की रोकथाम के लिए किया गया है। किसी भी तरह का साइबर अपराध होने पर वहां रिपोर्ट की जा सकती है और आम तौर पर पूरा शहर उनका अधिकार क्षेत्र होता है।

राष्ट्रीय स्तर पर साइबर अपराध की शिकायतें दर्ज करने के लिए ऑनलाइन पोर्टल्स भी उपलब्ध हैं (https: //cybercrime.gov.in/)। अगर साइबर क्राइम का शिकार हुए हैं, तो इस पोर्टल और वेब ऐड्रेस का प्रयोग करके अपराध की रिपोर्ट ऑनलाइन दर्ज करा सकते हैं। इसके लिए आपको खास तकनीकी ज्ञान की भी जरूरत नहीं। यह काम बहुत आसान है। अब समय आ गया है कि साइबर सुरक्षा को प्राथमिकता दी जानी चाहिए।

सौजन्य - पत्रिका।
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About न्यूज डेस्क, नई दिल्ली.

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